Sunday, November 24, 2024
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Vinod Khanna: अपना शानदार करियर छोड़कर विनोद खन्ना (Vinod Khanna) ने ले लिया था सन्यास, माली बने और टॉयलेट तक साफ किया

Vinod Khanna: अपने दौर के हैंडसम हंक विनोद खन्ना (Vinod Khanna) की आज जन्मतिथि है। 6 अक्टूबर 1946 को विनोद खन्ना (Vinod Khanna) का जन्म पेशेवर में हुआ था। बंटवारे के बाद विनोद खन्ना (Vinod Khanna) का परिवार मुंबई मं आकर बस गया था। विनोद खन्ना (Vinod Khanna) हिंदी सिनेमा जगत के वो कलाकार रहें जिन्होंने अपने करियर की शुरुआत विलेन बनकर की थी लेकिन बन गए हीरो। अपने शानदार अभिनय के साथ-साथ अपने गुड लुकिंग को लेकर सुर्खियों में बने रहे।

Vinod Khanna: अपने दौर के हैंडसम हंक विनोद खन्ना (Vinod Khanna) की आज जन्मतिथि है। 6 अक्टूबर 1946 को विनोद खन्ना (Vinod Khanna) का जन्म पेशेवर में हुआ था। बंटवारे के बाद विनोद खन्ना (Vinod Khanna) का परिवार मुंबई मं आकर बस गया था। विनोद खन्ना (Vinod Khanna) हिंदी सिनेमा जगत के वो कलाकार रहें जिन्होंने अपने करियर की शुरुआत विलेन बनकर की थी लेकिन बन गए हीरो। अपने शानदार अभिनय के साथ-साथ अपने गुड लुकिंग को लेकर सुर्खियों में बने रहे।

साल 1968 में सुनील दत्त ने विनोद खन्ना को अपनी फिल्म ‘मन का मीत’में विलेन के रूप में मौका दिया था। इसके बाद हीरो के रूप में स्थापित होने के पहले तक विनोद ने ‘आन मिलो सजना’, ‘पूरब और पश्चिम’, ‘सच्चा झूठा’ जैसी फिल्मों में सहायक या खलनायक के रूप में काम किया था। ‘मेरा देश मेरा गांव’ फिल्म में तो विनोद ऐसे डाकू बने जिन्होंने ग्रामीणों से फिरौती तक नहीं ली थी। साल 1971 में ‘हम तुम और वो’ में विनोद खन्ना बतौर मुख्य अभिनेता नजर आए। इसके बाद उन्होंने कई फिल्मों में अपने अभिनय का जादू चलाया और गीतांजलि से शादी कर ली। गीतांजलि से विनोद खन्ना की मुलाकात थिएटर के दौरान हुई थी। दोनों के दो बच्चे अक्षय खन्ना और राहुल खन्ना हुए। विनोद खन्ना ने 150 से ज्यादा फिल्मों में काम किया। भले ही आज विनोद खन्ना इस दुनिया में नहीं हैं लेकिन अपने चाहने वालों को वो हमेशा दिलों में रहते हैं।

70-80 के दशक में जब विनोद खन्ना का करियर पीक पर था तब उन्होंने सन्यास लेने का फैसला कर लिया। विनोद खन्ना अपना घर परिवार और बच्चों को छोड़कर अमेरिका में आध्यात्मिक गुरु ओशो के आश्रम चले गए। वहां उन्होंने माली और टॉयलेट साफ किए और पांच साल तक आश्रम में ही रहे। जब वह भारत लौटे तो गीतांजलि से उनका तलाक हो गया और उन्होंने 1990 में कविता से दूसरी शादी कर ली। दोनों की एक बेटी और बेटा हुआ।

27 अप्रैल 2017 को ब्लड कैंसर की वजह से विनोद खन्ना का निधन हो गया। विनोद खन्ना ने काफी वक्त तक अपनी बीमारी को परिवार से छुपाकर रखा। उन्हें छह साल पहले ही ब्लड कैंसर होने का पता चल गया था, लेकिन वह इसे ठीक करने के लिए कुछ नहीं कर पाए।

 

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