हिंदी सिनेमा में 50-60 का दशक गोल्डन एरा माना जाता है। इसको गोल्डन एरा बनाने के लिये बहुत से कलाकारों ने अपने महत्वपूर्ण योगदान दिया है। इनमें से एक अभिनेत्री रहीं साधना शिवदासनी। साधना उस वक्त बहुत ही मशहूर अभिनेत्री उनका हेयर स्टाइल और ड्रेसिंग सेंस काफी पॉपुलर था। साधना का हेयरस्टाइल पूरे देश में मशहूर था।
उस जमाने की लड़कियां साधना के हेयर स्टाइल और ड्रेसिंग सेंस को कॉपी करती थीं। देश की आधी से ज़्यादा लड़कियां अपने चार बाल ललाट पर गिराकर खुद को साधना समझती थी।
साधना का जन्म पाकिस्तान में एक सिंधी परिवार में हुआ था। बचपन से ही उनका लालन-पोषण फिल्मी माहौल के बीच हुआ। साधना का नाम उनके पापा ने अपनी पसंदीदा अभिनेत्री और डांसर साधना बोस के नाम पर रखा था। क्या आप जानते हैं साधना के पापा और करिश्मा-करीना की मम्मी बबीता कपूर के पापा दोनों सगे भाई थे।
साधना ने बचपन से ही फिल्मों में काम करना शुरु कर दिया था। वो राज कपूर की फिल्म श्री 420 में नजर आईं थीं। साल 1958 में लीड एक्ट्रेस के तौर पर साधना सिंधी फिल्म अबाना में नजर आयीं थीं। हिंदी फिल्मों के मशहूर प्रोड्यूसर सशधर मुख़र्जी ने अपनी फिल्म लव इन शिमला में साधना को अपनी फिल्म में मौका दिया। इस फिल्म में जॉय मुखर्जी उनके लीड एक्टर थे।
साधना ने जब ये फिल्म साइन की। उस वक्त फिल्म के डॉयरेक्टर आर.के नयैर को साधना का चेहरा थोड़ा अजीब लगा। साधना का ललाट बड़ा था। ऐसे में नैयर ने साधना का उंचा ललाट छुपाने के लिए थोड़े बाल माथे पर बिखेर दिए गये। उन्होंने साधना का हेयरकट हॉलीवुड की एक्ट्रेस ऑड्रे हेपबर्न के जैसे कर दिये थे। इसके बाद ये फिल्म रिलीज हुई और बॉक्स ऑफिस पर सुपरहिट हो गई। फिर तो साधना का ये हेयरस्टाइल पूरे देश में मशहूर हो गया था।