Rajesh Khanna: हिंदी सिनेमा के पहले सुपरस्टार राजेश खन्ना (Rajesh Khanna) से जुड़े किस्से इतने दिलचस्प हैं कि दर्शक उनके बारें में ज्यादा से ज्यादा जानने के इच्छुक रहते हैं। काका आज हम सबके बीच में नहीं हैं लेकिन इसके बावजूद उन्होंने हिंदी सिनेमा जगत में अपना जो महत्वपूर्ण योगदान दिया है उसे देश कभी नहीं भूला सकता है। आज हम आपको उनसे जुड़ा एक बहुत ही दिलचस्प किस्सा बताने जा रहे हैं।
ऐसा पहला मौका था जब राजेश खन्ना (Rajesh Khanna) को चाहने वाले उन्हें देखने के लिए बड़ी संख्या में बेंगलुरु में जमा हो गए थे। इस यादगार लम्हें के गवाह जावेद अख्तर भी हैं। उस वक्त इतने लोगों को एक साथ देखकर राजेश खन्ना तो हैरान हुए ही थे साथ में जावेद अख्तर को भी हैरानी हुई थी। एक के बाद एक हिट फिल्म देकर राजेश खन्ना (Rajesh Khanna) लोगों के पसंदीदा एक्टर बन गए थे। राजेश खन्ना की पॉपुलैरिटी को देखते हुए कर्नाटक सरकार ने फैसला किया कि यदि लॉटरी का लकी नंबर राजेश के हाथों निकलवाया जाए तो लॉटरी का जबरदस्त प्रमोशन हो जायेगा। लकी नंबर निकालने का पूरा आयोजन विधानसभा के पास मैदान में किया गया था। उस दिन वहां जाने के लिए राजेश खन्ना ने अपने साथ मशहूर लेखक जावेद अख्तर को साथ लिया था, ताकि वहां आने-जाने के दौरान कुछ फिल्मों के स्क्रिप्ट पर चर्चा हो जायेगी। लेकिन राजेश खन्ना को इसका जरा सा भी एहसास नहीं था कि इस यात्रा से उनकी जिंदगी और सोच बदलने वाली है।
राजेश खन्ना वहां पहुंचे तो देखकर हैरान रह गए। राजेश खन्ना को वहां देखते ही करीब 50 हजार लोगों की आवाज एक साथ निकली, वो मंजर अविश्वसनीय था। उस दिन बेंगलुरू की सड़कें खाली थीं। केवल एक शख्स को देखने के लिए एक हजारों की संख्या में लोग एक जगह इकट्ठे थे। ऐसा लग रहा था कि किसी राजा के सामने हाजिरी लगाने जनता आयी थी। दूर-दूर तक सिर्फ सिर ही सिर नजर आ रहे थे।
उस सुनहरे पल को याद करते हुए राजेश खन्ना ने कहा था कि मुझे लगा कि मैं भगवान के बराबर खड़ा हो गया हूं। मुझे अभी भी वो लम्हा याद है, जब पहली बार मुझे एहसास हुआ कि कामयाबी कितनी अद्भुत हो सकती है, ये आपको हिला कर रख देती है, ऐसा लगता है कि जैसे आप इंसान हैं ही नहीं, ये ‘अंदाज’ के फौरन बाद हुआ था’।
ये ऐसा पहला वक्त था जब राजेश खन्ना की अपने पहले विराट स्टारडम से मुलाकात हुई थी।